अब हम सत्संग की गम जानी भजन हिंदी लिरिक्स

    चेतावनी भजन

    • 2 Aug 2025
    • Admin
    • 3018 Views
    अब हम सत्संग की गम जानी भजन हिंदी लिरिक्स

    सतसंग बाग़ लगाया

    सत शब्द रा फूल खिले है ,
    सोहम सुगंध समाया।
    साधु भाई सतसंग बाग़ लगाया।

    ह्रदय रूपी खेत बनाया ,
    ज्ञान रा बीज बो आया।
    श्रद्धा प्रेम रा नीर पिलाया ,
    दिन दिन बढ़त सवाया।
    साधु भाई सतसंग बाग़ लगाया। टेर। …

    मन माली को राखिया रूखाळी ,
    सुरता शब्द पिरोया।
    काम क्रोध रा शत्रु मेटिया ,
    निर्भय रा फल खाया।
    साधु भाई सतसंग बाग़ लगाया। टेर। …

    निश दिन आनंद होवे बाग़ में ,
    गुरु गम झूला झुलाया।
    सोऽहं सब्द रा लागे झकोला ,
    हिर्दय आनंद पाया।
    साधु भाई सतसंग बाग़ लगाया। टेर। …

    गणपतरामजी तो सतगुरु मिलिया ,
    साँचा बाग लगाया।
    भीखाराम तो हुआ दीवाना ,
    बागा में मौज मनाया।
    साधु भाई सतसंग बाग़ लगाया। टेर। …

    Share This Post:
    WhatsApp Group Join Now
    Telegram Group Join Now

    Popular Bhajan Lyrics

    Stay Connected With Us